उत्तर पश्चिम रेलवे के जयपुर मंडल पर रेवाड़ी से दिल्ली व जयपुर जाने वाली रेल लाइन का रविवार को पूर्ण रूप से विद्युतिकरण हो गया. जिससे अब इस लाइन पर पूर्ण रूप से बिजली की ट्रेन चल सकेंगी. इससे एक तरफ जहां ट्रेनों की रफ्तार बढेगी, वहीं दूसरी ओर पर्यावरण में प्रदूषण नहीं फैलेगा, जिससे पर्यावरण को काफी लाभ होगा. इसके साथ-साथ रेल मंत्रालय का करोड़ों का राजस्व भी बचेगा. बता दें, यहां ट्रेन का इंजन अब डीजल से नहीं, बिजली से चलेगा.
उत्तर पश्चिम रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी कैप्टन शशि किरण ने बताया कि इस रूट पर जयपुर, दौसा, बांदीकुई, अलवर, खैरथल, रेवाड़ी, गुरुग्राम व नई दिल्ली तक शत प्रतिशत रेलमार्ग का विद्युतीकरण कार्य पूरा हो चुका है. यहां रेलमार्ग पर इलेक्ट्रिक ट्रेक्शन पर रेल सेवाओं का संचालन प्रारम्भ हो गया है. अब विद्युतिकरण होने से ट्रेनों की रफ्तार में बढोतरी होगी. जिससे यात्रा समय में बचत होगी. इसके साथ ही डीजल की जगह बिजली के प्रयोग से पर्यावरण संरक्षण को भी बढ़ावा मिलेगा. हालांकि इससे मंत्रालय द्वारा जो पैसा डीजर खरीदने पर खर्च किया जा रहा था, विद्युतिकरण से वह पैसा बचेगा. जिससे रेल मंत्रालय को काफी मुनाफा होगा.
यात्रियों का बचेगा समय
उन्होंने बताया कि इस रूट पर ट्रेनों का विद्युतिकरण होने से ट्रेन की रफ्तार में इजाफा होगा. जिससे ट्रेन यात्रियों को उनके गंतव्य तक पहले की अपेक्षा अब जल्द पहुंचा देगी. रेवाड़ी से दौसा जाने में पूजा सुपर फास्ट ट्रेन को करीब सवा दो घंटे का समय लगता है, जो अब दो घंटे से कम समय में ही पहुंचा देगी. वहीं पूजा सुपर फास्ट को रेवाड़ी से दिल्ली कैंट जाने में लगभग सवा घंटे का समय लगता है जो अब एक घंटे से पहले ही पहुंचा देगी. उन्होंने बताया कि इससे अब ट्रेनों के लेट होने की भी समस्या दूर हो जाएगी.